पुलिस हैरान- पहले खोदी सुरंग फिर चुरा लिया रेलवे का पूरा इंजन, बिहार में चोरों का बड़ा कारनामा
पिछले सप्ताह बरौनी के गरहारा यार्ड में मरम्मत के लिए लाए गए ट्रेन के पूरे डीजल इंजन को एक गिरोह ने चुरा लिया था गिरोह ने एक बार में कुछ पुर्जे चुराकर इसे हासिल किया. चोरों ने सुरंग बनाकर पूरा का पूरा रेल इंजन ही गायब कर दिया.
बिहार में चोरों ने एक ऐसे कांड को अंजाम दिया जिसके बारे में जानकर आप भी हिल जाएंगे. पहले रोहतास में लोहे का 500 टन वजनी पुल चुराने के बाद चोरों ने दूसरी दूसरी बड़ी घटना को अंजाम दिया है. चोरों ने अब सुरंग बनाकर पूरा का पूरा रेल इंजन ही गायब कर दिया. पुलिस के मुताबिक, मुजफ्फरपुर में एक कबाड़ की दुकान से बरामद किए गए बैग में ट्रेन के इंजन के पुर्जे भरे हुए थे.
पुलिस के मुताबिक, पिछले सप्ताह बरौनी (बेगूसराय जिला) के गरहारा यार्ड में मरम्मत के लिए लाए गए ट्रेन के पूरे डीजल इंजन को एक गिरोह ने चुरा लिया था गिरोह ने एक बार में कुछ पुर्जे चुराकर इसे हासिल किया. पहली खोज तब हुई जब पुलिस ने तीन लोगों को हिरासत में लिया और उनकी सूचना के आधार पर उन्होंने मुजफ्फरपुर की प्रभात कॉलोनी स्थित एक कबाड़ के गोदाम से इंजन के पुर्जों की 13 बोरियां बरामद कीं गई.
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा कि हैरान करने वाली बात यह थी कि हमने यार्ड के पास एक सुरंग का पता लगाया, जिसके माध्यम से चोर आते थे और इंजन के पुर्जों को चुरा लेते थे और उन्हें बोरियों में भरकर ले जाते थे. रेलवे अधिकारी इससे पूरी तरह अनभिज्ञ थे ।
आपको बता दें कि हाल ही में पूर्णिया जिले में जहां चोरों ने एक पूरे विंटेज मीटर गेज स्टीम इंजन को बेच दिया था , जो सार्वजनिक प्रदर्शन के लिए स्थानीय रेलवे स्टेशन पर तैनात था. जांच के दौरान पुलिस ने पाया कि एक रेलवे इंजीनियर ने समस्तीपुर डिवीजन के डिवीजनल मैकेनिकल इंजीनियर की तरफ जारी एक जाली पत्र के आधार पर क्लासिक स्टीम इंजन को बेच दिया था.
उधर, एक अन्य गिरोह ने बिहार के उत्तर पूर्वी अररिया जिले में सीताधार नदी पर एक लोहे के पुल का ताला खोल दिया है. पुल के अन्य महत्वपूर्ण हिस्से गायब पाकर पुलिस हैरान है. पुलिस को प्राथमिकी दर्ज करने और उसकी सुरक्षा के लिए एक कांस्टेबल तैनात करने के लिए मजबूर होना पड़ा. पता हो कि पलटनिया पुल, फारबिसगंज शहर को रानीगंज से जोड़ता है. दोनों ही नगर अररिया जिले में ही आते हैं. पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए यह सुनिश्चित करने के लिए उपाय किए.
बता दें कि इस साल अप्रैल में, लुटेरों ने लगभग 500 टन वजनी 45 साल पुराने स्टील के पुल को दिन के समय तोड़कर बेच दिया था, जिसमें सिंचाई विभाग के अधिकारियों के शामिल होने का आरोप लगा था. बाद में पुलिस ने इस मामले में जल संसाधन विभाग के एक सहायक अभियंता समेत 8 लोगों को गिरफ्तार किया. उनके इकबालिया बयान के आधार पर पुलिस ने कबाड़ सामग्री बरामद की.