आम जनता का फायदा पर पेट्रोल पंप चलाने वालों का निकला दिवाला जानिए क्या हुआ

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आम जनता का फायदा पर पेट्रोल पंप चलाने वालों का निकला दिवाला जानिए क्या हुआ

केंद्र और राज्यों की कटौती के बाद कई शहरों में पेट्रोल की कीमत में 12 रुपये और डीजल की कीमत में 17 रुपये की कमी हुई है।

दिल्ली में बुधवार को पेट्रोल की कीमत 110.04 रुपये प्रति लीटर थी जो गुरुवार को 103.87 रुपये रह गई। इस दौरान डीजल की कीमत भी 98.42 रुपये से घटकर 86.67 रुपये रह गई।

इससे बड़े पेट्रोल पंपों को 10 से 20 लाख रुपये का नुकसान हुआ है। दूसरी ओर छोटे पेट्रोल पंपों को 1 से 2 लाख रुपये का नुकसान उठाना पड़ रहा है।

देश में सरकारी तेल कंपनियों के करीब 78,000 पेट्रोल पंप हैं। इन पेट्रोल पंपों ने पुराने रेट पर इनवेंट्री खरीदी थी लेकिन उन्हें नए रेट पर पेट्रोल-डीजल बेचना पड़ रहा है। उन्हें प्रति लीटर औसतन 7 रुपये का नुकसान उठाना पड़ रहा है।

बड़े पेट्रोल पंपों पर 1.5 लाख लीटर तक इनवेंट्री होती है जबकि छोटे पेट्रोल पंपों पर भी 30 से 40 हजार लीटर तक की इनवेंट्री होती है। इसमें 70 फीसदी पेट्रोल और 30 फीसदी डीजल होता है।

केंद्र सरकार ने पेट्रोल और डीजल की कीमतों में राहत देने के लिए दिवाली से एक दिन पहले इन पर लगने वाली एक्साइज ड्यूटी में कटौती की घोषणा की थी। पेट्रोल पर प्रति लीटर 5 रुपये और डीजल पर 10 रुपये की कमी की गई।

इसके बाद 15 राज्यों और 2 केंद्रशासित प्रदेशों ने भी पेट्रोल-डीजल पर लगने वाले वैट  पर कटौती कर दी। इससे ग्राहकों को तो राहत मिली है लेकिन पेट्रोल पंप चलाने वालों का दिवाला निकल गया है।

ऑल इंडिया पेट्रोल पंप डीलर्स एसोसिएशन  के अध्यक्ष अजय बंसल ने कहा कि

वह इस बारे में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण  को चिट्ठी लिखकर अपनी चिंताओं से अवगत कराएंगे।

पेट्रोल पंपों ने इनवेंट्री पर जो अतिरिक्त पैसा चुकाया है, उन्हें इसका क्रेडिट मिलना चाहिए। बाद में पेट्रोल-डीजल की खरीद पर इसे एडजस्ट किया जा सकता है।